7 Difference Between Roti and Parantha in Hindi, रोटी और परांठो में अंतर – जैसा की हम जानते है भारतीय व्यंजनों बहुत विविधता होती है। और इन्ही विविधताओं में जो सबसे महत्वपूर्ण है वो है रोटी और पराठा । अंग्रेजी में इन्हें फ्लैटब्रेड के रूप में जाना जाता है, दोनों प्रकार के भारतीय फ्लैटब्रेड जिन्हें अक्सर स्वादिष्ट सूप, ग्रेवी और अन्य व्यंजनों की संगत के रूप में उपयोग किया जाता है। ये अक्सर भारतीय व्यंजनों का मुख्य हिस्सा होते हैं और आमतौर पर लगभग हर भोजन में मौजूद होते हैं।
क्या आप इन दोनों के बीच के अंतर को जानते है और अगर नही तो बने रहिये हमारे साथ आर्टिकल के अंत तक जहाँ हूँ, सबसे पहले रोटी और परांठा क्या होता है इस पर बात करेंगे और साथ ही ये भी जानेंगें की ये कितने प्रकार के होते है, तो चलिए शुरू करते है –
Contents
रोटी और परांठो में अंतर (Difference Between Roti and Parantha or Roti vs Parantha)
रेपो और रिवर्स रेपो रेट में अंतर की तुलनात्मक सारणी –
रोटी (Roti) | परांठा (Parantha) |
रोटी को आमतौर पर पूरे गेहूं के आटे (आटा) से बनाया जाता है | परांठो को पूरे गेहूं के आटे (आटा) या मैदा से बनाया जाता है |
रोटी को पकाने के लिए किसी भी तेल और किसी अन्य वसा का उपयोग नहीं किया जाता है। | परांठो को तेल, मक्खन, या घी लगा कर या कभी कभी इनके साथ तलकर भी बनाया जाता है |
रोटियों में आमतौर पर परतें नहीं होती हैं। | परांठे मोटे होते है और इनमे कई परतें हो सकती हैं। |
आमतौर पर रोटियां प्लेन होती है इसमें किसी भी प्रकार की स्टफिंग या फिलिंग नही होती है | परांठे सादा हो सकता है या विभिन्न भरावों से भरा जा सकता है जिसे हम आलू, गोभी, सेव जैसे विभिन्न नामो से जानते है |
रोटी को हमेशा सब्जी के साथ परोसा जाता है। | आमतौर पर पराठे को अचार और सादे दही के साथ परोसा जाता है. |
अगर रोटी ठीक से ढकी नहीं है तो हवा के संपर्क में आते ही, तो यह सूखी और सख्त हो जाती है। | परांठो को पकाते समय तेल, मक्खन, या घी लगाया जाता है, इसलिए पराठा देर तक नरम रहता है। |
रोटियां कई प्रकार की होती है जैसे मक्के की रोटी, ज्वार, बाजरा की रोटी रागी की रोटी वगेरह वगेरह | रोटियों की तरह परांठो के कई प्रकार की होते है सादे परांठे, लच्छा परांठा, भरवां परांठा (जिसमे आलू, गोभी, मूली वगेरह वगेरह ) |
रोटी क्या होती है कैसे बनाया जाता है? (What is Roti and How is it made?)
भारतीय खान पिन की बात की जायें तो रोटी एक विस्तृत शब्द है। हमारे व्यंजनों में रोटीयां कई प्रकार की होती है, इसलिए अगर इसकी व्याख्या करने के लिए बोले तो ये थोडा कठिन काम है।
सबसे बुनियादी अर्थों में, एक भारतीय गोलाकार और चपटी होती है जो पूरे गेहूं के आटे से बनाई जाती है, जिसे स्थानीय रूप से आटे के रूप में जाना जाता है। आटा और पानी से एक मिश्रण बनाया जाता है। कुछ लोग स्वाद के लिए नमक डालते भी हैं और नही भी। कभी-कभी इस मिश्रण में तेल या दूध मिलाया जाता है ताकि रोटी को और नरम बनाया जा सके।
आटा नरम होना चाहिए लेकिन बहुत नरम या गीला भी नहीं होना चाहिए, फिर आटे को हथेली से छोटे-छोटे हिस्सों में बाँटकर एक बॉल का आकार दिया जाता है और फिर इन्हें हाथ से चपटा किया जाता है। इन चपटे गोल भागों को फिर हाथ से या रोलिंग पिन के माध्यम से पतले फ्लैट गोलाकार आकार में घुमाकर बड़ा किया जाता है। आप पढ़ रहे है – Difference Between Roti and Parantha
इसके बाद इसे या तो तवे पर पकाया जाता है, जो एक प्रकार की चपटी कड़ाही होती है, सीधे आंच पर या तंदूर में (जो एक खुली हवा में कोयला ओवन होता है) में पकाया जाता है। पकने के बाद, इसे गर्म तवे या आंच से हटा दिया जाता है और फिर इस पर अपने पसंद के हिसाब से तेल, मक्खन, या घी लगाया जाता है।
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परांठा क्या होता है कैसे बनाया जाता है? (What is paratha and how is it made?)
पराठा, परत और आटा शब्दों का एक समामेलन है, जिसका शाब्दिक अर्थ है पके हुए आटे की परतें।वैसे तो हम भारतीय इससे अनजान नही है, लेकिन फिर भी अगर मैं परांठो के बारे में बताऊ तो पराठे परत वाली रोटी का ही प्रकार हैं जो पूरे गेहूं के आटे, नमक, पानी और घी या तेल से बने होते हैं। भारत में इसे खाने के लिए दही, चटनी, अचार, करी, और सब्जियों व्यंजन के साथ परोसा जाता है। कुछ भारतीय तो चाय के साथ परांठा बड़े चाव से से खाते है
दरअसल, पराठा बनाने की भी प्रक्रिया रोटी से काफी मिलती जुलती है। हालाँकि, इसमें कुछ अतिरिक्त चरण शामिल हैं। एक बार आटा बेलने के बाद, इस पर तेल, घी या मक्खन लगाया जाता है, फिर इस गोल से रोटी को मोड़ कर आधा कर दिया जाता है, जिससे ये सेमी सर्किल के शेप के या D के शेप में आ जाती है, फिर इसे एक बार और मोड़ा जाता है जिससे त्रिभुजाकार आकर में आ जाती है, फिर इसे बेल कर बड़ा किया जाता है जिससे त्रिभुजाकार परांठा तैयार होता है।
अगर भरवां पराठा है, तो स्टफिंग को आटे की लोई में भरा जाता है और उसके ऊपर से एक और लोई को रख कर स्टफिंग को पैक कर दिया जाता है और फिर उसे बेल कर बड़ा किया जाता है। फिर इसे वरीयता के अनुसार या तो एक गोलाकार या त्रिकोणीय आकार में रोल आउट करने की आवश्यकता होती है, और अंत में इसे तवे पर सुनहरा होने तक भुना जाता है और अच्छी तरह से पक जाता है।
रोटी और परांठो के बीच मुख्य अंतर क्या हैं? (Key Differences Between Roti and Parantha in Hindi)
- रोटी को आमतौर पर पूरे गेहूं के आटे (आटा) से बनाया जाता है वही परांठो को पूरे गेहूं के आटे (आटा) या मैदा से बनाया जाता है
- रोटी को पकाने के लिए किसी भी तेल और किसी अन्य वसा का उपयोग नहीं किया जाता है। वही अगर परांठो की बात की जाये तो इन्हें बनाने के लिए तेल, मक्खन, या घी लगा कर या कभी कभी इनके साथ तलकर भी बनाया जाता है
- रोटियों में आमतौर पर परतें नहीं होती हैं। वही परांठे मोटे होते है और इनमे कई परतें हो सकती हैं।
- आमतौर पर रोटियां प्लेन होती है इसमें किसी भी प्रकार की स्टफिंग या फिलिंग नही होती है। वही परांठे की बात की जाये तो परांठे सादा हो सकता है या विभिन्न भरावों से भरा जा सकता है जिसे हम आलू, गोभी, सेव जैसे विभिन्न नामो से जानते है
- रोटी को हमेशा सब्जी के साथ परोसा जाता है। आमतौर पर पराठे को अचार और सादे दही के साथ परोसा जाता है.
- अगर रोटी ठीक से ढकी नहीं है तो हवा के संपर्क में आते ही, तो यह सूखी और सख्त हो जाती है। परांठो को पकाते समय तेल, मक्खन, या घी लगाया जाता है, इसलिए पराठा देर तक नरम रहता है।
- रोटियां कई प्रकार की होती है जैसे मक्के की रोटी, ज्वार, बाजरा की रोटी रागी की रोटी वगेरह वगेरह। वही रोटियों की तरह परांठो के कई प्रकार की होते है सादे परांठे, लच्छा परांठा, भरवां परांठा (जिसमे आलू, गोभी, मूली वगेरह वगेरह )
निष्कर्ष (Conclusion)
आज के इस आर्टिकल में हमने रोटी और परांठो में अंतर (Difference Between Roti and Parantha in Hindi) को समझा, साथ ही ये भी समझा की इन्हें बनाने के लिए किस तरह के आटे का उपयोग होता है और इन्हें किस विधि से बनाया जाता है।
अगर इसके बाद भी अगर आपके मन में कोई सवाल है तो मेरे कमेंट बॉक्स में आकर पूछे मैं आपके सवालों का जवाब अवश्य दूंगा तब तक के लिए धन्यवाद और मिलते हैं अगले आर्टिकल में! ऐसे और भी रोचक अन्तरो को जानने के लिए बने रहिये हमारे साथ antarjano.com पर।